छत्तीसगढ़ के नक्सल प्रभावित दंतेवाड़ा जिले के अरनपुर पंचायत में एक दर्दनाक घटना सामने आई है। गुरुवार रात नक्सलियों ने सरपंच पद के प्रत्याशी जोगा बारसे की बेरहमी से हत्या कर दी। बताया जा रहा है कि वे पहले सीपीआई (CPI) के सदस्य थे, लेकिन कुछ साल पहले कांग्रेस में शामिल हो गए थे।
घर में घुसकर परिवार के सामने की हत्या
जोगा बारसे अरनपुर के सरपंच पारा के निवासी थे। गुरुवार देर रात भारी संख्या में नक्सली उनके घर पहुंचे। कुल्हाड़ी से दरवाजा तोड़कर अंदर घुसे और परिवार के सामने ही धारदार हथियार से उनका गला रेत दिया। हत्या के बाद नक्सली जंगल की ओर फरार हो गए।
25 साल से राजनीति में सक्रिय थे जोगा बारसे
स्थानीय लोगों के अनुसार, जोगा बारसे क्षेत्र के प्रभावशाली आदिवासी नेता थे। वे पिछले 25 वर्षों से राजनीति में सक्रिय थे और कई बार सरपंच चुने गए। जब सरपंच पद महिला के लिए आरक्षित होता, तब उनकी पत्नी चुनाव लड़तीं और जब पुरुषों के लिए होता, तो वे खुद मैदान में उतरते और जीतते।
इसके अलावा, जोगा एक बार जनपद सदस्य भी रह चुके थे। वे लंबे समय तक भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (CPI) से जुड़े रहे, लेकिन 2018-19 के दौरान उन्होंने कांग्रेस की सदस्यता ले ली थी।
4 दिनों में 4 हत्याएं, नक्सली दहशत जारी
यह अकेली घटना नहीं है। पिछले चार दिनों में दंतेवाड़ा और बीजापुर जिलों में नक्सलियों ने चार लोगों की हत्या कर दी है।
– दो दिन पहले भी नक्सलियों ने अरनपुर थाना क्षेत्र के ककाड़ी गांव में एक ग्रामीण को घर से उठाकर जंगल में ले जाकर गला काट दिया।
– पुलिस मुखबिरी का आरोप लगाकर उसकी हत्या कर दी और शव गांव के बाहर फेंक दिया।
नक्सल हिंसा का काला इतिहास
छत्तीसगढ़ में नक्सलियों का खौफ दशकों से बना हुआ है। आंकड़ों के अनुसार, पिछले 24 वर्षों में नक्सली हमलों में 1,800 से अधिक लोगों की जान जा चुकी है।
इस तरह की घटनाएं यह दर्शाती हैं कि चुनावी माहौल में भी नक्सल प्रभावित इलाकों में भय का साया बना हुआ है। प्रशासन के लिए यह एक बड़ी चुनौती है।

Author: Sarik_bharti_media_desk
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