भारत में जी20 समिट के दौरान क्या होगा खास, विदेश मंत्री जयशंकर ने बताया प्लान

विदेश मंत्री जयशंकर - India TV Hindi
Image Source : FILE
विदेश मंत्री जयशंकर

विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने शुक्रवार को लोकसभा को बताया कि जी20 समूह की अध्यक्षता के दौरान यह उम्मीद की जाती है कि भारत ‘ग्लोबल साउथ’ की चिंताओं को सामने रखेगा और समकालीन अंतरराष्ट्रीय राजनीति में ध्रुवीकरण के मुद्दे पर आम-सहमति बनाने में सहयोग करेगा। लोकसभा में टीआर बालू के प्रश्न के लिखित उत्तर में विदेश मंत्री जयशंकर ने कहा कि जी20 समूह की भारत की अध्यक्षता के दौरान देशभर में 50 से अधिक शहरों में लगभग 200 बैठकें आयोजित होंगी। 

उन्होंने कहा कि इसमें 30 विभिन्न कार्यसमूह वार्ता सत्र आयोजित करेंगे जिनमें शेरपा ट्रैक कार्य समूह, फाइनांस ट्रैक कार्य समूह, और सहभागिता समूह के सत्र समेत मंत्रालयी बैठकें शामिल हैं। जयशंकर ने बताया, ‘जी20 समूह के नेताओं के शिखर सम्मेलन का आयोजन 9-10 सितंबर, 2023 को नई दिल्ली में करना निर्धारित किया गया है।’ 

उन्होंने कहा कि सरकार का मानना है कि जी20 की अध्यक्षता भारत की उपलब्धियों, क्षमताओं और विविधता को प्रदर्शित करने का एक विशेष अवसर है। विदेश मंत्री ने कहा कि इस गौरवपूर्ण अवसर को एक राष्ट्रीय अवसर के रूप में मनाया जा रहा है, स्वाभाविक रूप से इन्हें विभिन्न राज्य सरकारों के परामर्श से आयोजित किया जा रहा है और विभिन्न राजनीतिक दलों को भी तैयारी की प्रक्रिया से जोड़ा गया है। 

जयशंकर ने कहा, ‘यह समग्र प्रयास सहकारी संघवाद के प्रति सरकार की प्रतिबद्धता को दर्शाता है।’ उन्होंने कहा कि हमारी जी20 समूह की अध्यक्षता के दौरान उच्च प्राथमिकता वाले क्षेत्रों से संबंधित महत्वपूर्ण विचार विमर्श में, समावेशी और अनुकूल विकास, टिकाऊ विकास लक्ष्य (एसडीजी) संबंधी प्रगति, हरित विकास एवं पर्यावरण अनुकूल जीवनशैली (मिशन लाइफ), प्रौद्योगिकी परिवर्तन और सार्वजनिक डिजिटल आधारभूत ढांचा, बहुपक्षीय संस्थानों में सुधार, महिलाओं के नेतृत्व में विकास एवं अंतरराष्ट्रीय शांति और सद्भाव शामिल हैं। विदेश मंत्री ने कहा कि जी20 की हमारी अध्यक्षता के दौरान होने वाले विचार-विमर्श के फलस्वरूप इन क्षेत्रों से संबंधित परिणाम सामने आएंगे।

Latest India News

Source link