छत्तीसगढ़ में पूर्ववर्ती भूपेश बघेल सरकार के कार्यकाल में हुए 2500 करोड़ रुपये के शराब घोटाले में आरोपित 19 अधिकारी अब भी महत्वपूर्ण पदों पर बने हुए हैं। इनमें से एक अधिकारी की पिछले माह मृत्यु हो चुकी है। जनवरी 2024 में एंटी करप्शन ब्यूरो (एसीबी) द्वारा की गई एफआईआर और जुलाई 2024 में आर्थिक अपराध अन्वेषण ब्यूरो (ईओडब्ल्यू) द्वारा पेश किए गए 10,000 पन्नों के आरोपपत्र में इन अधिकारियों पर घोटाले में शामिल होने का आरोप लगाया गया है।
इन अधिकारियों में राज्य स्तरीय उड़नदस्ता, संभाग स्तरीय उड़नदस्ता, जिला आबकारी अधिकारी और उपायुक्त के पद शामिल हैं। एफआईआर और जांच में नाम आने के बावजूद अभी तक इन अधिकारियों पर कोई कानूनी कार्रवाई नहीं की गई है।
आरोपपत्र के अनुसार,
सीएसएमसीएल के तत्कालीन प्रबंध संचालक एपी त्रिपाठी, जो वर्तमान में उत्तर प्रदेश की मेरठ जेल में बंद हैं, ने इस घोटाले का संचालन किया। उन्होंने 15 जिलों के आबकारी अधिकारियों के साथ बैठक कर अवैध शराब और नकली होलोग्राम वाली शराब बेचने का रास्ता निकाला।
छत्तीसगढ़ के उप मुख्यमंत्री ने कहा कि जांच एजेंसियां इस मामले की लगातार पड़ताल कर रही हैं और प्रमाण मिलने पर अधिकारियों पर कार्रवाई की जा रही है।
Author: DEEPAK SHARMA
News creator, social media activist